रायपुर - CG Ab Loudspeakers Se Padhayenge Shikshak - प्रदेश में ऑनलाइन पढाई में आ रही दिक्कतों को दूर करने के लिए अब एक नए कॉन्सेप्ट को मंजूरी मिल गयी है। अब प्रदेश के शिक्षक अपने बच्चों को लाउडस्पीकर्स के माध्यम से पढ़ाएंगे। राज्य सरकार के फैसले के मुताबिक जिले के प्रत्येक ग्राम पंचायत के कम से कम एक स्कूल में इस योजना को एक सप्ताह के भीतर अमल में लाना होगा। छत्तीसगढ़ स्कुल शिक्षा विभाग को अनुमान है की प्रदेश के 10 हजार ग्राम पंचायतों में कम से कम 10 लाख बच्चे लाउडस्पीकर के माध्यम से पढाई कर पाएंगे।
पंचायत कराएगी साउंड सिस्टम की व्यवस्था - पंचायत द्वारा बच्चों के पढाई के लिए ग्रामों में उपलब्ध लाउडस्पीकर अथवा डीजे वालों के सहयोग से साउंड बॉक्स उपलब्ध करवाया जायेगा। जब लाउडस्पीकर से शिक्षक बच्चों को पढ़ाएंगे तब बच्चे अपने घरों - मोहल्लो या छोटे समूह में बैठकर ध्यान से सुनेंगे तथा शिक्षक द्वारा दिए निर्देश अनुसार जानकारी को नोट करते जायेंगे। ऐसी कक्षा प्रतिदिन राज्य गीत के माध्यम से प्रारम्भ होगी। बस्तर एवं महासमुंद के ग्रामीण इलाकों में यह योजना सफल हो चुकी है।
शिक्षामंत्री ने ली जानकारी - प्रदेश के माननीय शिक्षामंत्री प्रेमसाय सिंह टेकाम ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये बस्तर जिले में जारी इस योजना के सम्बन्ध में विस्तृत जानकारी लिए। शिक्षा मंत्री ने बताया की बस्तर के 56 ग्राम पंचायतों में लाउडस्पीकर के माध्यम से पढाई प्रारम्भ हो चुकी है। प्रदेश में कोरोना महामारी के चलते ऑनलाइन पढाई के साथ - साथ अब लाउडस्पीकर के माध्यम से ऑफलाइन भी पढाई कराया जायेगा। बच्चों के पढ़ाई का नुकसान न हो इसलिए यह एक वैकल्पिक व्यवस्था है।
ऐसी होगी पढ़ाई - शाला के शिक्षक प्रतिदिन निर्धारित समय में लाउडस्पीकर के माध्यम से पढाई कराएँगे साथ साथ शिक्षक घूम-घूम कर बच्चों को पढ़ाई करते देख भी सकते है। बच्चों की नियमित क्लास लग रही है या नहीं इसकी पूरी जानकारी पलकों को रहेगी। बस्तर जिला के पंचायतों में 11 पंचायत से बढ़कर एक सप्ताह में 56 ग्राम पंचायतों में यह योजना लागु हो चुकी है।
जल्द जारी होगी सभी जिलों में - प्राप्त जानकारी अनुसार प्रदेश के शिक्षा मंत्री ने इस योजना को काफी पसंद कर शिक्षकों को प्रोत्साहित भी कर रहे है,और बहुत जल्द ही पुरे प्रदेश में लागु करेंगे। शिक्षा मंत्री ने अपील की है की कम से कम प्रत्येक ग्राम पंचायत के एक स्कूल को इस योजना से जोड़ना चाहिए ताकि बच्चों की पढ़ाई का ज्यादा नुकसान न हो। प्रदेश के सभी पंचायतों को बहुत जल्द निर्देश मिलने वाली है की वे एक सप्ताह के भीतर अपने पंचायत में शिक्षकों के मदद से इस योजना को प्रारम्भ करें।
10 हजार है पंचायतों की संख्या - इस योजना को सबसे पहले बस्तर के 11 पंचायतों में शुरू किया गया था जिसे बढाकर अब 56 ग्राम पंचायतों तक किया गया है। वैसे तो पुरे प्रदेश में 10 हजार ग्राम पंचायते है, लेकिन क्या सभी पंचायतों में यह योजना पूर्णतः सफल साबित हो पायेगा। जिस प्रकार से ऑनलाइन कक्षाओं में कई प्रकार की दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है कही इसमें भी तो समस्या नहीं आ जाएगी , यह आने वाले समय में स्पष्ट हो जायेगा।
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Jgj
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