CG College Exam 2020 - देश के ज्यादातर विश्वविद्यालय अब विश्वविद्यालय अनुदान आयोग UGC की संसोधित गाइडलाइन के तहत परीक्षाएं कराने को तैयार है। यूजीसी ने यह गाइडलाइन 6 जुलाई को जारी की थी। इसके तहत सभी विश्वविद्यालयों को अंतिम वर्ष की लंबित परीक्षाओं को कराना जरुरी है। UGC ने इसके लिए विश्वविद्यालयों को 30 सितम्बर तक का समय भी दिया है।
महाविद्यालयीन परीक्षाओं को पहले जारी गाइडलाइन के अनुसार एक से 15 जुलाई तक कराना अनिवार्य था। लेकिन कोरोना संक्रमण एवं उनके खतरे को देखते हुए इसे आगे बढ़ा दिया गया है।
कई राज्यों में विरोध जारी - विश्वविद्यालयों का यह रुख ऐसे समय में सामने आया है जब अंतिम वर्ष की परीक्षाओं को लेकर जारी की गयी यूजीसी की संसोधित गाइडलाइन का कई राज्यों में विरोध हो रहा है। अब तक कोरोना संकट को देखते हुए यूजीसी ने विश्वविद्यालयों को ऑनलाइन और ऑफलाइन किसी भी तरीके से परीक्षाएं कराने की छूट दी है।
छः राज्यों ने जताई आपत्ति - फिलहाल अब तक जिन राज्यों ने गाइडलाइन को लेकर आपत्ति जताई है, उनमे दिल्ली, पंजाब , महाराष्ट्र, उड़ीसा, तमिलनाडु एवं राजस्थान शामिल है. हालाँकि यूजीसी का साफ कहना है कि यूजीसी एक्ट के तहत गाइडलाइन को मानना सभी राज्यों के लिए जरुरी है। कोई भी राज्य इसे मानने से इंकार नहीं कर सकता। वैसे भी यूजीसी देश में विश्वविद्याओं और उच्च शिक्षण संस्थानों की सबसे बड़ी नियामक संस्था है। यूजीसी की मंजूरी के बाद ही कोई भी कोर्स एवं डिग्री मान्य होती है।
सभी विश्वविद्यालयों से परीक्षा सम्बंधित प्लान आमंत्रित - यूजीसी द्वारा संसोधित गाइडलाइन जारी के साथ ही विश्विद्यालयों से अंतिम वर्ष की परीक्षाओं का प्लान भी माँगा गया है। अभी तक 640 विश्वविद्यालयों के जवाब आ चुके है। इसमें 120 डीम्ड विवि, 229 निजी विवि, 40 केंद्रीय विश्विद्यालय और 251 राज्य विश्वविद्यालय शामिल है। इनमे से 454 विश्वविद्यालयों ने या तो परीक्षाएं होने की या फिर इसकी तैयारी की जानकारी दी है।
182 विश्विद्यालयों ने ऑनलाइन और ऑफलाइन मोड़ में पहले ही परीक्षाएं कराने की जानकारी दी है, जबकि 234 ने अलग - अलग तरीके से अगस्त और सितम्बर में परीक्षाएं कराने की प्लान दिए है। वही 38 ने स्थिति का सामान्य होते ही जल्द प्लान तैयार करने की बात कही है। जबकि 186 विश्वविद्यालयों ने अब तक इस पर कोई भी निर्णय नहीं लेने की जानकारी दी है। हालाँकि अभी भी करीब 250 विश्विद्यालयों से जवाब आने बाकी है, इनमे से ज्यादातर राज्य के अधीन विश्वविद्यालय है।
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